ओबीसी व दलित को फोकस करते हुए 20 प्रतिशत नये चेहरों पर दांव चला भाजपा ने, मुस्लिम प्रत्याशियों से दूरी
पहले व दूसरे चरण चुनावों के भाजपा ने जारी की प्रत्याशियों की सूची
लखनऊ। मकर संक्रांति के शुभ अवसर व सूर्य का मकर राशि में शुभ प्रवेश अर्थात उत्तरायन होते ही शनिवार को, प्रदेश में प्रस्तावित विधानसभा चुनाव निमित्त भाजपा प्रत्याशियों की सूची की प्रतीक्षा समाप्त हो गई। भाजपा ने प्रत्याशियों में बहुप्रतिक्षित मुख्यमंत्री और फायरबांड नेता योगी आदित्यनाथ व उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्या समेत 107 प्रत्याशियों की सूची जारी की है। सूची में पहले दो चरणों में 113 सीटों पर होने वाले चुनावों के नामांकन के लिए अभी 105 प्रत्याशियों की सूची जारी कर दी है। सूची में कयास सही सिद्ध हुये, सूचियों में 20 वर्तमान विधायकों को स्थान नही मिला है, उनके स्थान पर पहली बार किस्मत अजमा रहें प्रत्याशियों को मौका दिया गया है। इसके अलावा जातिगत समीकरणों को दर किनार करते हुए ओबीसी व दलितों पर दांव चला है। सहारनपुर सामान्य सीट पर दलित प्रत्याशी उतार कर भाजपा ने राजनीति की है, दो चरणों की सूची में 60 प्रतिशत ओबीसी व दलित प्रत्याशी उतारे हैं।
हिन्दुत्व होगा मुख्य मुद्दा
केन्द्रीय भाजपा कार्यसमिति के धर्मेन्द्र प्रधान ने सूची जारी करते हुए बताया कि गोरखपुर शहर विधानसभा सीट 322 का चुनाव छठे चरण में और प्रयागराज में सिराधू विधानसभा सीट 251 का चुनाव 5 वें चरण में होना है , मगर इन दोनों ही सीटों पर प्रत्याशियों के नाम घोषित कर कयासों पर विराम लगाया जा रहा है। गोरखपुर शहर से प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और सिराथू विधानसभा सीट से उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्या चुनाव लडेंÞगे। इसके अलावा प्रथम चरण 58 सीटों में 57 और दूसरे चरण की 55 सीटों में 48 प्रत्याशी प्रत्याशी घोषित किये गये हैं। उन्होंने बताया कि दोनों चरण की शेष 7 सीटों पर शीघ्र ही प्रत्याशी तय होते ही सार्वजनिक कर दिये जायेंगे। भाजपा द्वारा जारी सूची में प्रत्याशियों के नाम से स्पष्ट हो चुका है कि भाजपा का मुख्य फोकस ओबीसी व दलित मतदाताओं पर है, इसके अलावा कांग्रेस द्वारा 40 प्रतिशत महिलाओं के आरक्षण को भाजपा ने खास तवज्जों नही दी है, उन्होंने दोनो चरणों के 105 नामों में केवल 10 महिलाओं को उतारा है जो कि 10 प्रतिशत से भी कम है और सबसे खास बात है कि सूची में एक भी मुस्लिम प्रत्याशी को स्थान नही दिया गया है। अर्थात भाजपा हिन्दुत्व के मुद्दे पर ही प्रदेश के चुनाव फतह करना चाहती है।