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राजभवन में प्रादेशिक फल, शाकभाजी एवं पुष्प प्रदर्शनी का शुरू, आनंदी बेन ने किया शुभारंभ

राज्यपाल एवं मुख्यमंत्री ने राज भवन प्रांगण में 55वीं

डबल इंजन सरकार अन्नदाता किसानों को हर प्रकार का प्रोत्साहन व सहयोग
दे रही, इन परिस्थितियों में उनके सामने आगे बढ़ने का अवसर: मुख्यमंत्री

इस प्रदर्शनी के माध्यम से औद्यानिक फसलों में रुचि रखने वाले तथा
इसके माध्यम से प्रदेश के विकास में योगदान देने वाले अन्नदाता
किसान अपने उत्पादों को प्रदेशवासियों के सामने रखते

प्रधानमंत्री जी के विजन के अनुरूप किसानों की आमदनी को कई गुना बढ़ाने
तथा प्रदेश की जी0डी0पी0 में अपने गांव, कस्बे, जनपद आदि का योगदान बढ़ाने
के लिए औद्यानिक फसलों के क्षेत्र में और अधिक रुचि लेकर आगे बढ़ना होगा

राज्यपाल एवं मुख्यमंत्री ने प्रदर्शनी में फल,
शाकभाजी एवं पुष्प स्टाॅलों का अवलोकन किया

प्रगतिशील किसानों को सम्मानित किया

प्रदर्शनी की स्मारिका का विमोचन व डाक विभाग के माई स्टाम्प का शुभारम्भ किया

प्रदर्शनी 17 से 19 फरवरी, 2024 तक आयोजित की जा रही


लखनऊ।
उत्तर प्रदेश की राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल जी एवं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने आज यहां राज भवन प्रांगण में आयोजित, तीन दिवसीय 55वीं प्रादेशिक फल, शाकभाजी एवं पुष्प प्रदर्शनी का शुभारम्भ किया। यह प्रदर्शनी 17 से 19 फरवरी, 2024 तक आयोजित की गयी है।
मुख्यमंत्री जी ने राजभवन में प्रादेशिक फल, शाकभाजी एवं पुष्प प्रदर्शनी के आयोजन के लिए राज्यपाल जी के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा कि प्रतिवर्ष प्रादेशिक फल शाक भाजी एवं पुष्प प्रदर्शनी का आयोजन राज भवन प्रांगण में होता है। इस प्रदर्शनी के माध्यम से औद्यानिक फसलों में रुचि रखने वाले तथा इसके माध्यम से प्रदेश के विकास में योगदान देने वाले अन्नदाता किसान अपने उत्पादों को प्रदेशवासियों के सामने रखते हैं। राजधानी लखनऊ के साथ-साथ प्रदेश भर के लोग इस प्रदर्शनी का हिस्सा बनते हैं।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि डबल इंजन सरकार अन्नदाता किसानों को हर प्रकार का प्रोत्साहन व सहयोग दे रही है। इन परिस्थितियों में उनके सामने आगे बढ़ने का अवसर है। उत्तर प्रदेश अनेक संभावनाओं वाला प्रदेश है। राज्य में देश की जनसंख्या का 16 प्रतिशत भाग निवास करता है। प्रदेश में भारत की कुल कृषि योग्य भूमि का मात्र 11 प्रतिशत भाग है, लेकिन देश के कुल खाद्यान्न उत्पादन में 20 प्रतिशत से अधिक हिस्सेदारी है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश में कुल कृषि योग्य भूमि के मात्र 10 प्रतिशत भाग का उपयोग औद्यानिक फसलों से जुड़े किसानों द्वारा किया जाता है। प्रदेश की जी0डी0पी0 में कृषि के कुल योगदान में 24 प्रतिशत भाग औद्यानिक फसलों का होता है। यह प्रदर्शित करता है कि अन्नदाता किसानों की आमदनी को कई गुना बढ़ाने के लिए परम्परागत खेती के साथ ही औद्यानिक फसलों को प्रोत्साहित करना पड़ेगा। इसी प्रोत्साहन के लिए आज यहां राज्यपाल जी के कर कमलों द्वारा प्रदेश के प्रगतिशील किसानों को सम्मानित किया गया है। इन किसानों ने ड्रैगन फ्रूट, स्ट्रॉबेरी, पुष्पों आदि की खेती में पॉलीहाउस, ड्रिप सिंचाई आदि के माध्यम से अपने-अपने क्षेत्र में कुछ नया करने का प्रयास किया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के विजन के अनुरूप किसानों की आमदनी को कई गुना बढ़ाने तथा प्रदेश की जी0डी0पी0 में अपने गांव, कस्बे, जनपद आदि का योगदान बढ़ाने के लिए औद्यानिक फसलों के क्षेत्र में और अधिक रुचि लेकर आगे बढ़ना होगा। पोषक तत्वों से भरपूर यह औद्यानिक फसलें कुपोषण जैसी बीमारियों से लड़ने में मददगार साबित होंगी तथा व्यक्ति के जीवन में व्यापक परिवर्तन का माध्यम बनेंगी।
मुख्यमंत्री जी ने आगामी 19 फरवरी को राज्यपाल जी के कर-कमलों द्वारा प्रदर्शनी में रुचि लेकर अपने उत्पादों को प्रदर्शित करने वाले किसानों के सम्मान तथा पुरस्कार वितरण कार्यक्रम में पुरस्कृत होने वाले किसानों को अग्रिम बधाई एवं शुभकामनाएं दीं।
इस अवसर पर राज्यपाल जी एवं मुख्यमंत्री जी द्वारा प्रादेशिक फल, शाकभाजी एवं पुष्प प्रदर्शनी-2024 स्मारिका का विमोचन तथा प्रादेशिक फल, शाकभाजी एवं पुष्प प्रदर्शनी-2024 पर आधारित डाक विभाग के माई स्टाम्प का शुभारम्भ किया गया। उन्होंने प्रदर्शनी लगाए गए फल, शाकभाजी एवं पुष्प स्टाॅलों का अवलोकन किया। राज्यपाल जी एवं मुख्यमंत्री जी द्वारा 12 प्रगतिशील किसानों को सम्मानित किया गया। इनमें श्री विष्णु दत्त पाण्डेय, श्री आयुष अग्रवाल, श्री विजेन्द्र सिंह, श्री रामजी दुबे, श्री शुभम द्विवेदी, श्रीमती उषा उपाध्याय, श्री अनंत पोद्दार, श्री बलवन्त प्रसाद, श्री प्रकाश सिंह, श्री गुलाम मोहम्मद, श्री शिवदयाल, श्री इन्द्रजीत पटेल सम्मिलित हैं।

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